नगर निगम के सीवरमैन कर्मचारियों ने आज निगम कार्यालय के बाहर अनिश्चितकालीन हड़ताल की शुरुआत कर दी है. इससे पहले यूनियन ने निगम अधिकारियों को एक मांगपत्र सौंपा था और चेतावनी दी थी कि मांगे पूरी न होने की स्थिति में वे हड़ताल पर चले जाएंगे.
सीवरमैन यूनियन का कहना है कि लंबे समय से वे अपनी जायज़ मांगों को लेकर संघर्ष कर रहे हैं, लेकिन हर बार उन्हें सिर्फ आश्वासन देकर शांत कर दिया जाता है. यूनियन के प्रधान नरेश कुमार ने बताया कि उनके काम की प्रकृति बेहद जोखिमभरी है. काम के चलते वे गंभीर बीमारियों का शिकार हो रहे हैं और यह असर उनके परिवारों पर भी पड़ रहा है.
नरेश कुमार, यूनियन प्रधान ने कहा “हम लोग बीमार हो रहे हैं, हमारे परिवार बीमार हो रहे हैं, और जब कोई साथी मर जाता है तो उसके परिवार को एक रुपए की भी मदद नहीं मिलती. इंश्योरेंस कंपनियां भी क्लेम देने से मना कर देती हैं. अब हमारे पास हड़ताल के अलावा कोई रास्ता नहीं बचा है.
यूनियन का कहना है कि यदि उनकी मांगें अब भी नहीं मानी गईं, तो वे शहर की सभी सीवर लाइनें बंद कर देंगे और इसकी पूरी जिम्मेदारी सरकार की होगी. उन्होंने पार्षदों और शहरवासियों से अपील की है कि वे इस लड़ाई में उनका साथ दें और सरकार पर दबाव बनाएं.
अब देखना यह होगा कि नगर निगम और सरकार इस हड़ताल को लेकर क्या कदम उठाते हैं और क्या सीवरमैन यूनियन की मांगों को गंभीरता से लिया जाता है या नहीं.